सूरत नगर निगम चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने शानदार प्रदर्शन किया है। पार्टी ने 120 में से 93 सीटों पर जीत दर्ज करने में कामयाबी हासिल की है। हालांकि, इस चुनाव में कांग्रेस का सूपड़ा साफ हो गया है। वहीं, आम आदमी पार्टी ने अपने प्रदर्शन से सभी को चौंकाया है। आप ने इस चुनाव में 27 सीटें अपने नाम की है। परिणामों के बाद हार से निराश कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया। उन्होंने कार्यालय के बाहर जिला और शहर अध्यक्ष का पुतला फूंका।
कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने पेट्रोल छिड़ककर बाबू रायका, कादिर पीरज़ादा और तुषार चौधरी की मूर्तियों को जलाया और आरोप लगाया कि इन लोगों ने कांग्रेस को बेच दिया। कार्यकर्ताओं ने इन नेताओं की तस्वीरों को भी तोड़ दिया। एक तरफ कांग्रेस का खाता साफ हो गया है और दूसरी तरफ आम आदमी पार्टी ने एक नया विकल्प दिया है। सूरत में आम आदमी पार्टी के चौंकाने वाले प्रदर्शन के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल भी उत्साहित हैं। केजरीवाल 26 तारीख की सुबह सूरत में रोड शो करेंगे।
इस चुनाव में, भारतीय जनता पार्टी ने 93 सीटें जीती हैं, जबकि आम आदमी पार्टी ने 27 सीटें जीती हैं। सूरत में 116 में से भाजपा को 76 सीटों का नुकसान हुआ। जबकि कांग्रेस को 36 सीटों का नुकसान हुआ। निर्विरोध भाजपा उम्मीदवार का चुनाव किया गया। 2015 के चुनावों में, अहमदाबाद, राजकोट, जामनगर, भावनगर, वड़ोदरा और सूरत जैसे सभी निगमों में भाजपा की सरकार बनी। इस चुनाव के दौरान कुल दो सीटें निर्विरोध रहीं।