ऑटो उद्योग के बाद अब होम अप्लायंसेस सेगमेंट ने भी अपने प्रोडक्ट्स की कीमतों में बढ़ोतरी का ऐलान कर दिया है। रिपोर्ट के मुताबिक, जनवरी से एलईडी टीवी, फ्रिज और वॉशिंग मशीन जैसे घरेलू इलेक्ट्रॉनिक्स प्रोडक्ट्स 10 फीसदी तक महंगे हो सकते हैं। इसकी वजह कॉपर, एल्युमिनियम, स्टील जैसे धातुओं की कीमतों में तेजी और कच्चे माल की लागत में बढ़ोतरी को बताया जा रहा है। एलजी, पैनासोनिक और थॉमसन जैसे निर्माता जनवरी से अपने प्रोडक्ट के दाम बढ़ाने जा रहे हैं।
टीवी का शिपमेंट 2019 में अपने उच्चतम 1.5 करोड़ यूनिट तक पहुंचा
काउंटरपॉइंट की टीवी ट्रैकर सर्विस के लेटेस्ट रिसर्च के अनुसार, भारत में टीवी का शिपमेंट 2019 में उच्चतम 15 मिलियन (1.5 करोड़) यूनिट तक पहुंचने के लिए सालाना 15% बढ़ा। यह वृद्धि मुख्य रूप से बजट स्मार्ट टीवी 32 इंच के टीवी की बदौलत रही।
एक नई रिपोर्ट के मुताबिक, इस साल की पहली तिमाही में लीडिंग स्मार्टफोन ब्रांड शाओमी ने भारत के स्मार्ट टीवी बाजार में 27 प्रतिशत बाजार हिस्सेदारी हासिल की, उसके बाद एलजी 14 प्रतिशत और सैमसंग 10 प्रतिशत के साथ क्रमश: दूसरे और तीसरे जबकि सोनी नौ फीसदी और टीसीएल आठ फीसदी के साथ चौथे और पांचवें स्थान पर हैं।
2021 में 13.6 बिलियन डॉलर (अनुमानित) का हो जाएगा भारतीय टीवी उद्योग
भारत के टेलीविजन उद्योग का मूल्य 2021 में 13.6 बिलियन अमेरिकी डॉलर तक पहुंचने का अनुमान लगाया गया था। 2017 में इसका मूल्य केवल दस बिलियन डॉलर से अधिक था। टेलीविजन देश में कंज्यूमर ड्यूरेबल के ब्राउन सेगमेंट का हिस्सा था। 2018 में टीवी की पहुंच 66 प्रतिशत तक पहुंच गई, जिससे सेमी-अर्बन और ग्रामीण क्षेत्रों में विविधता आई, जहां 197 में से 109 टीवी सेट ग्रामीण भारत के थे।