प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 10 दिसंबर को नई संसद की आधारशिला रखेंगे। यह जानकारी लोकसभा के अध्यक्ष ओम बिरला ने दी। गौरतलब है कि लोकसभा अध्यक्ष ने शनिवार दोपहर ही प्रधानमंत्री से मुलाकात की थी, जिसके बाद शिलान्यास के तारीखों की जानकारी दी गई।
बता दें कि नई संसद को बनाने का कॉन्ट्रैक्ट टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड को मिला है, जो लगभग 861.90 करोड़ रुपए की लागत से संसद की नई इमारत बनाएगी। ये इमारत मौजूदा संसद भवन के नजदीक ही बनेगी। लगभग 21 महीनों में इसके पूरा होने की उम्मीद की जा रही है। नई बिल्डिंग में संयुक्त सेशन चलने पर भी 1,350 सांसदों के बैठने के लिए अच्छी-खासी जगह होगी।
केंद्रीय लोक निर्माण विभाग (सीपीडब्ल्यूडी) के मुताबिक इमारत करीब 65 हजार वर्ग मीटर में फैली होगी, जिसमें 16921 वर्ग मीटर का इलाका अंडरग्राउंड भी होगा। इस तरह से बिल्डिंग में भूमिगत को मिलाकर ग्राउंड फ्लोर और दो और मंजिलें भी होंगी। नई डिजाइन त्रिकोणीय परिसर लिए हुए होगी, जिससे तीन रंगों की किरणें आसमान में छाई लगेंगी।
प्रस्तावित योजना के अनुसार कई फेरबदल
सांसदों के बैठने की व्यवस्था ज्यादा आरामदेह बनाई जा रही है। इसके तहत टू-सीटर बेंचें होंगी, ताकि किसी भी सांसद को आराम से बैठने की पूरी गुंजाइश हो। फिलहाल कई बार सीटें फुल होने पर सांसदों को सिकुड़कर भी बैठना पड़ जाता है। नई इमारत ये दिक्कत दूर कर देगी।
888 सीट के बैठने की होगी क्षमता
उन्होंने बताया कि नई बिल्डिंग में लोकसभा सदस्यों के लिए 888 सीट के बैठने की क्षमता होगी जबकि ऊपरी सदन राज्यसभा में बैठने की क्षमता 326 सीटों की होगी। इसमें सभी सांसदों के लिए अलग से कार्यालय होंगे और यह लेटेस्ट डिजिटल तकनीक से लैस होगा, जिसे पेपरलेस ऑफिस की दिशा में एक कदम कहा जा सकता है।