बकेवर पुलिस अपहृत किशोर को बरामद करने के बजाय आरोपियों को बचाने के लिए उच्चाधिकारियों को गुमराह करने वाली रिपोर्ट भेजी है। जब भुक्तभोगी को जानकारी हुई तो वह शनिवार को थाने पहुंचा ,पुलिस मामले में कुछ कहने से बचती रही।
जानकारी के अनुसार पांच माह पहले 4 सितंबर 2019 को बकेवर बुजुर्ग निवासी देवेन्द्र कुमार त्रिपाठी के बेटे हर्षित कुमार(15) को गांव के युवक व उसके अन्य साथियों ने अपहरण कर लिया था। भुक्तभोगी पिता की तहरीर पर पुलिस ने गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कर किशोर की तलाश शुरू कर दी। घटना के तीसरे दिन बिजुरी मोड़ पुतानी के बाग से अपहृत किशोर हर्षित की साइकिल पुलिस ने बरामद कर ली। वहीं पर किसी अन्य व्यक्ति की चप्पल व गमछा भी बरामद हुआ। पुलिस को छानबीन के दौरान सीसीटीवी फुटेज हाथ लगा जिसमें अपहरणकर्ता की पहचान कर ली गई। घटना के खुलासे के लिए पुलिस मुगलमार्ग सिथति बिहारी होटल पहुंची जहां होटल मालिक सहित अन्य ने अपहृत हर्षित व उसके साथ आये युवक की सीसीटीवी फुटेज से पहचान कर ली और बताया कि बकेवर का ऋषि उर्फ होटल आया था उसके साथ कशोर हर्षित भी था। लेकिन बकेवर पुलिस बरामद सामान को घटना के साक्ष्य के रुप में दिखाने के बजाये अपहरणकर्ताओं को बचा रही।