भारत और चीन की सेना के बीच सोमवार की रात को लद्दाख सीमा पर फायरिंग हुई. चीनी सेना ने जब भारतीय सीमा में घुसने की कोशिश की, तो उसे रोका गया. लेकिन जब नहीं मानें तो वॉर्निंग फायर किया गया. ये फायरिंग की घटना तब हुई जब दोनों देशों की सेना के ब्रिगेड कमांडर शांति की बात कर रहे थे. सोमवार को हुई इस घटना की इनसाइड स्टोरी क्या है, जानिए...
• भारत-चीन के बीच लद्दाख सीमा के पास ये फायरिंग की घटना तब हुई, जब पास में ही चुशूल मोल्डो इलाके में भारत-चीन के ब्रिगेड कमांडर अफसर तनाव कम करने को लेकर बात कर रहे थे.
• चुशूल के पास BPM पोस्ट के दक्षिणी इलाके में ये गोलीबारी की घटना हुई. जहां चीन ने घुसपैठ की कोशिश की, फिर थोड़ी झड़प हुई और चीनी सेना ने पहले वार्निंग शॉट फायर किए. इसके बाद भारतीय सेना ने चीनी सैनिकों को उनकी सीमा में खदेड़ दिया.
• इस घटना के बाद अचानक चुशूल इलाके में बड़ी संख्या में सैनिकों का जमावड़ा हो गया था. ये मामला और भी बड़ा हो सकता था, लेकिन वक्त रहते हुए बड़े अफसरों ने इसमें दखल देकर शांत करवाया.
• सूत्रों के मुताबिक, दोनों देशों की सेनाओं के बीच ये घटना 7 सितंबर को शाम करीब 6 से 7 के बीच हुई है. पैंगोंग में एक चाइनीज़ पेट्रोल टीम भारतीय पोस्ट के काफी करीब आ गई थी.
• भारतीय सेना के जवानों ने चीनी सैनिकों की हरकत को पहचाना और अपने इलाके में मुस्तैदी से जम गए. गुरूंग हिल और राजांग्ला हिल के बीच हुई इस घटना के दौरान ही वार्निंग फायरिंग शॉट दागे गए थे.
• ये घटना बिल्कुल उस तरह की थी, जैसे हेल्मेट टॉप पर पिछले हफ्ते झड़प हुई थी. भारत ने जब से हेल्मेट और काला टॉप पर कब्जा किया है, तभी से ही चीनी सेना इस तरह की हरकत कर रही है. लेकिन चीन अबतक अपनी कोशिश में सफल नहीं हो पाया है.
गौरतलब है कि ऐसा करीब चार दशक के बाद हुआ है, जब भारत-चीन सीमा पर फायरिंग हुई हो. यही कारण है कि तनाव लगातार बढ़ता जा रहा है. भारतीय सेना की ओर से अभी बीते दिन की घटना पर आधिकारिक बयान नहीं आया है, लेकिन चीन ने बयान जारी कर भारत पर माहौल बिगाड़ने का आरोप लगाया है.